
नेशनल डेस्क, ऋषि राज |
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने मोबाइल चोरी और तस्करी करने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए बड़ी सफलता हासिल की है। पुलिस ने गिरोह के तीन सक्रिय सदस्यों को गिरफ्तार किया है और उनके कब्जे से 228 चोरी किए गए मोबाइल फोन, तीन पिस्तौल और छह कारतूस बरामद किए हैं।
गिरोह की कार्यप्रणाली
पुलिस जांच में खुलासा हुआ कि यह गिरोह दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में मोबाइल फोन चोरी करता था और फिर उन्हें नेपाल और बांग्लादेश जैसे पड़ोसी देशों में ऊंचे दामों पर बेचता था। गिरोह का नेटवर्क काफी बड़ा था, जिसमें फोन चुराने वाले, खरीददार और तस्करी के लिए लॉजिस्टिक सपोर्ट देने वाले लोग शामिल थे। पुलिस के मुताबिक, गिरोह का सरगना मोताहर शेख है, जो पिछले पांच वर्षों से इस अवैध कारोबार में सक्रिय था।
पुलिस की कार्रवाई
दिल्ली पुलिस को लंबे समय से इस गिरोह की गतिविधियों की सूचना मिल रही थी। इसी आधार पर पुलिस ने जाल बिछाकर तीन आरोपियों को धर दबोचा। तलाशी के दौरान उनके पास से भारी मात्रा में मोबाइल फोन और अवैध हथियार मिले। पुलिस का मानना है कि हथियारों का इस्तेमाल वे गैंग के सदस्यों को सुरक्षा देने और विरोध करने वालों को डराने के लिए करते थे।
सीमा पार तस्करी का खुलासा
पूछताछ में सामने आया कि चोरी किए गए मोबाइल फोन पहले स्थानीय स्तर पर इकट्ठा किए जाते थे और फिर नेपाल व बांग्लादेश भेजे जाते थे। वहां इनके खरीदार तैयार रहते थे, जिससे गिरोह को बड़ा मुनाफा होता था। तस्करी के लिए वे ट्रेन और बस सेवाओं का उपयोग करते थे और कई बार सीमा पार के रास्तों से फोन छोटे-छोटे बैच में भेजे जाते थे।
आर्थिक नुकसान और असर
इस गिरोह की वजह से न केवल आम नागरिकों को आर्थिक नुकसान होता था, बल्कि दिल्ली-एनसीआर में मोबाइल चोरी की घटनाओं में लगातार वृद्धि हो रही थी। पुलिस अधिकारियों के अनुसार, अब तक की जांच में पता चला है कि गिरोह हजारों मोबाइल फोन की तस्करी कर चुका है।
आगे की कार्रवाई
दिल्ली पुलिस ने तीनों आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है और गिरोह के अन्य सदस्यों की तलाश जारी है। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि नेपाल और बांग्लादेश में उनके खरीदारों का नेटवर्क कितना बड़ा है और क्या इसमें किसी संगठित आपराधिक या आतंकी गिरोह की संलिप्तता है।
दिल्ली पुलिस की इस कार्रवाई से मोबाइल चोरी और तस्करी करने वाले नेटवर्क को बड़ा झटका लगा है। अधिकारियों का कहना है कि इस तरह के गिरोहों के खिलाफ सख्त कार्रवाई जारी रहेगी ताकि आम लोगों को राहत मिल सके और सीमा पार अवैध कारोबार पर भी अंकुश लगाया जा सके।