
स्टेट डेस्क, श्रेयांश पराशर l
उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा है कि बेटियों को सशक्त बनाने के लिए उन्हें शिक्षा, संस्कार और स्वस्थ जीवन देना बेहद आवश्यक है। उन्होंने कहा कि आज बेटियों के सामने कई चुनौतियाँ हैं, जिनसे निपटने के लिए उन्हें सक्षम और आत्मनिर्भर बनाना ही समय की मांग है।
राज्यपाल ने जोर देकर कहा कि माता-पिता की जिम्मेदारी है कि वे बेटियों को न केवल अच्छी शिक्षा दें बल्कि उन्हें संस्कारित भी करें। उनके अनुसार, बेटियाँ भविष्य में मातृत्व के रूप में समाज की रीढ़ होती हैं और वे ही संस्कारित नागरिक समाज को प्रदान करती हैं। इसलिए उनके विकास में लापरवाही समाज और राष्ट्र दोनों के लिए नुकसानदायक है।
उन्होंने कहा कि पूरे देश में बेटियों के लिए अनेक योजनाएं और कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं, जिनसे लगातार जागरूकता और प्रगति दोनों बढ़ रही हैं। शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाओं तक बेटियों की सहज पहुँच ही उन्हें आत्मविश्वास और आत्मनिर्भरता की दिशा में ले जाएगी।
आनंदीबेन ने कहा कि समाज में आज भी कई बार बेटियों को दूसरे दर्जे का नागरिक मानने की मानसिकता देखी जाती है। इसे बदलने के लिए जरूरी है कि माता-पिता बेटियों को बेटे की तरह अवसर दें और उनके सपनों को पंख लगाने में सहयोग करें। उन्होंने कहा कि जब बेटियाँ शिक्षित और संस्कारित होंगी तो वे न केवल अपने परिवार को बल्कि पूरे समाज को सशक्त बनाएंगी।
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि सरकार बेटियों के सर्वांगीण विकास के लिए निरंतर प्रयास कर रही है, लेकिन इन योजनाओं का वास्तविक लाभ तभी होगा जब परिवार और समाज भी सकारात्मक सोच के साथ सहयोग करेंगे।