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"वन नेशन, वन इलेक्शन" की दिशा में बड़ा कदम

नई दिल्ली, श्रेया पांडेय |

"वन नेशन, वन इलेक्शन" की दिशा में बड़ा कदम: 2029 के बाद विधानसभाओं का कार्यकाल घटाने की योजना
केंद्र सरकार द्वारा "वन नेशन, वन इलेक्शन" (ONE) नीति को लागू करने की दिशा में तैयारियां तेज हो गई हैं। सरकार की योजना है कि 2034 तक देशभर में लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनाव एकसाथ कराए जाएं। इसके लिए एक अहम कदम यह है कि 2029 के बाद निर्वाचित सभी राज्य विधानसभाओं का कार्यकाल छोटा किया जाएगा, ताकि उन्हें लोकसभा चुनाव के साथ समन्वय में लाया जा सके।

इस योजना का उद्देश्य चुनाव प्रक्रिया को अधिक संगठित, किफायती और प्रभावी बनाना है। वर्तमान में भारत में हर साल किसी न किसी राज्य में चुनाव होते रहते हैं, जिससे शासन प्रणाली बाधित होती है और चुनावी खर्च भी अत्यधिक होता है। ONE नीति लागू होने पर प्रशासनिक सततता बनी रहेगी और विकास कार्यों पर अधिक ध्यान केंद्रित किया जा सकेगा।

विधान आयोग और विधि आयोग द्वारा सुझाए गए प्रारूप के अनुसार, एक ट्रांजिशन फेज तैयार किया जा रहा है, जिसके अंतर्गत 2029 और 2034 के बीच में विभिन्न राज्यों के चुनावों को एक निर्धारित फ्रेम में लाया जाएगा। इसके लिए संविधान संशोधन की आवश्यकता भी हो सकती है।

सरकारी सूत्रों के अनुसार, यह योजना चरणबद्ध तरीके से लागू की जाएगी ताकि किसी भी राज्य की संवैधानिक व्यवस्था बाधित न हो। इसके लिए राज्यों की सहमति, संविधानिक प्रक्रिया, और लॉजिस्टिक तैयारियों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।

हालांकि विपक्षी दलों और कुछ राजनीतिक विश्लेषकों ने इस योजना पर संविधानिक जटिलताओं और संघीय ढांचे पर प्रभाव को लेकर सवाल उठाए हैं। उनके अनुसार, सभी राज्यों की राजनीतिक परिस्थितियाँ भिन्न होती हैं और चुनावों को एकसाथ कराने की प्रक्रिया में क्षेत्रीय विविधताओं की अनदेखी हो सकती है।

फिर भी, सरकार इस नीति को लोकतंत्र की मजबूती और संसाधनों के विवेकपूर्ण उपयोग के रूप में पेश कर रही है। आने वाले महीनों में इस योजना पर व्यापक बहस और संसद में प्रस्तुत प्रस्ताव की संभावना है।