Ad Image
Ad Image
दिल्ली पुलिस ने साइबर अपराधियों के लिए चलाया साईं हॉक अभियान, 48 घंटे में 800 गिरफ्तार || झारखंड की मंत्री दीपिका पाण्डेय का EC पर हमला, SIR के कारण हारा महागठबंधन || पूर्वी चंपारण के रक्सौल में VIP पार्टी के अनुमंडल प्रमुख की गोली मार हत्या || राष्ट्रपति ट्रंप ने यूक्रेन से शांति समझौते के प्रस्ताव को जल्दी स्वीकार करने का आग्रह किया || ईरान पर अमेरिका की सख्ती, आज नए प्रतिबंधों का किया ऐलान || BJP को 90 पर लीड, JDU को 80 पर लीड, महागठबंधन फेल || नीतीश कुमार CM हैं और आगे भी रहेंगे: जेडीयू की प्रतिक्रिया || NDA को शानदार बढ़त, 198 पर लीड जबकि महागठबंधन को 45 पर लीड || तुर्की : सैन्य विमान दुर्घटना में मृत सभी 20 सैनिकों के शव बरामद || RJD के एम एल सी सुनील सिंह का भड़काऊ बयान, DGP के आदेश पर FIR

The argument in favor of using filler text goes something like this: If you use any real content in the Consulting Process anytime you reach.

  • img
  • img
  • img
  • img
  • img
  • img

Get In Touch

ऑस्ट्रेलिया में 16 साल से कम उम्र के बच्चों के सोशल मीडिया अकाउंट होंगे बंद

विदेश डेस्क, ऋषि राज |

ऑस्ट्रेलिया सरकार ने बच्चों की ऑनलाइन सुरक्षा को लेकर एक बड़ा कदम उठाया है। मंगलवार, 16 सितंबर 2025 को सरकार ने तकनीकी कंपनियों के लिए नया नियामक निर्देश जारी किया। इसके तहत सोशल मीडिया कंपनियों को 16 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के अकाउंट 10 दिसंबर 2025 से बंद करने होंगे। यह निर्देश ऑस्ट्रेलिया में पहली बार लागू हो रहा है, जो नाबालिगों द्वारा सोशल मीडिया के उपयोग पर प्रतिबंध लगाता है।

सरकार का कहना है कि सोशल मीडिया के अत्यधिक उपयोग से बच्चों पर मानसिक और शारीरिक प्रभाव पड़ रहे हैं। कई रिपोर्टों में सामने आया है कि छोटे बच्चों में चिंता, अवसाद और अन्य मानसिक समस्याएं बढ़ रही हैं। बच्चों के सोशल मीडिया पर समय बिताने से उनकी नींद, अध्ययन और सामाजिक संबंधों पर नकारात्मक असर पड़ रहा है। इन्हीं कारणों को देखते हुए ऑस्ट्रेलिया ने यह कानून बनाया है, ताकि बच्चों को सुरक्षित डिजिटल माहौल मिल सके।

यह नया कानून दुनिया में अपनी तरह का पहला कदम माना जा रहा है। ऑस्ट्रेलिया सरकार ने स्पष्ट किया है कि तकनीकी कंपनियों को बच्चों की उम्र की पुष्टि के लिए सख्त प्रक्रिया अपनानी होगी। अगर कंपनियाँ इस नियम का पालन नहीं करती हैं तो उन पर जुर्माना लगाया जा सकता है।

सरकार ने यह भी कहा है कि बच्चों के अकाउंट बंद करने से पहले अभिभावकों को जानकारी देना आवश्यक होगा। साथ ही बच्चों को डिजिटल उपयोग की सही आदतें सिखाने के लिए जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा। इस पहल का उद्देश्य बच्चों को साइबर बुलिंग, अनुचित सामग्री और ऑनलाइन धोखाधड़ी से बचाना है।

ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री ने कहा कि बच्चों की सुरक्षा उनकी प्राथमिकता है और यह नियम बच्चों के मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाने में मदद करेगा। उन्होंने उम्मीद जताई कि अन्य देशों द्वारा भी ऐसा ही कदम उठाया जाएगा ताकि बच्चों को एक सुरक्षित और स्वस्थ डिजिटल जीवन मिल सके।

इस कानून के लागू होने के बाद यह देखना होगा कि सोशल मीडिया कंपनियाँ किस तरह बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करती हैं और उनके प्लेटफ़ॉर्म को बच्चों के लिए उपयोग में सुरक्षित बनाती हैं। यह फैसला बच्चों के भविष्य की रक्षा की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।