केरल का तुलाह वेलनेस रिट्रीट: लग्जरी और स्वास्थ्य का अनूठा संगम, लेकिन क्या हैं इसके नकारात्मक पहलू?

नेशनल डेस्क, मुस्कान कुमारी |
केरल के कोझिकोड में 30 एकड़ में फैला तुलाह क्लिनिकल वेलनेस विश्व का पहला ऐसा वेलनेस सैंक्चुअरी है, जो 5,000 साल पुरानी आयुर्वेद और योग जैसी पारंपरिक चिकित्सा पद्धतियों को आधुनिक डायग्नोस्टिक्स और एआई-संचालित देखभाल के साथ जोड़ता है। यह रिट्रीट व्यक्तिगत स्वास्थ्य यात्रा को विज्ञान, परंपरा और शांति के संतुलन के साथ समृद्ध करने का दावा करता है। हालांकि, इसकी भव्यता और नवाचार के बावजूद, कुछ संभावित नकारात्मक पहलुओं ने ध्यान खींचा है, जो इसकी पहुंच और अपील को प्रभावित कर सकते हैं।
लग्जरी वेलनेस का अनूठा अनुभव
तुलाह क्लिनिकल वेलनेस, जो अप्रैल 2025 में पूरी तरह से शुरू होगा, 800-1,000 करोड़ रुपये के निवेश से बनाया गया है। चेलेम्ब्रा में स्थित यह रिट्रीट 65 लग्जरी सुइट्स के साथ पश्चिमी घाट के मनोरम दृश्य प्रदान करता है। यह आयुर्वेद, चीनी और तिब्बती चिकित्सा, योग, ध्यान, खेल पुनर्वास और जीनोम-आधारित उपचारों का समन्वय करता है। तुलाह टेक नामक एआई-संचालित ऐप व्यक्तिगत आहार और गतिविधि योजनाएं प्रदान करता है। मेइत्रा अस्पताल के साथ साझेदारी इसे मेडिकल वैल्यू टूरिज्म के वैश्विक केंद्र के रूप में स्थापित करने का लक्ष्य रखती है।
उच्च लागत: केवल अमीरों के लिए?
तुलाह की लग्जरी स्थिति इसे सामान्य लोगों की पहुंच से बाहर कर सकती है। 66 लग्जरी सुइट्स और उन्नत सेवाएं, जैसे जीनोम टेस्टिंग और व्यक्तिगत उपचार, उच्च लागत का संकेत देती हैं। उद्यमी फैजल कोट्टिकोल्लन ने बताया कि यह केंद्र वैश्विक प्रभावशाली लोगों, जैसे राजनेताओं, व्यवसायियों और खिलाड़ियों को लक्षित करता है। यह विशेषता वेलनेस को केवल धनी वर्ग तक सीमित कर सकती है, जिससे सामाजिक समावेशिता पर सवाल उठ सकते हैं।
समय की मांग: सभी के लिए संभव नहीं
तुलाह के कार्यक्रम 3 से 21 दिनों तक के हैं, जिनमें दीर्घकालिक कार्यक्रम गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं और जीवनशैली परिवर्तन के लिए डिज़ाइन किए गए हैं। हालांकि यह गहन दृष्टिकोण प्रभावी हो सकता है, लेकिन यह व्यस्त पेशेवरों या परिवारों के लिए उपयुक्त नहीं हो सकता। 21-दिवसीय कार्यक्रम में समय की कमी वाले लोग भाग लेने में असमर्थ हो सकते हैं, जिससे इसकी अपील सीमित हो सकती है।
जटिल उपचार: तकनीक और परंपरा का मिश्रण
तुलाह का दृष्टिकोण आयुर्वेद, योग, चीनी और तिब्बती चिकित्सा को न्यूट्रीजेनोमिक्स, माइक्रोबायोम विश्लेषण और एआई-संचालित देखभाल के साथ जोड़ता है। यह जटिल मिश्रण उन लोगों के लिए भारी पड़ सकता है, जो तकनीक से परिचित नहीं हैं या साधारण आयुर्वेदिक उपचार पसंद करते हैं। तुलाह टेक ऐप, जो व्यक्तिगत योजनाएं प्रदान करता है, कुछ लोगों के लिए समझने में कठिन हो सकता है, जिससे उपचार प्रक्रिया में बाधा आ सकती है।
स्थान और पहुंच की चुनौतियां
कोझिकोड हवाई अड्डे के पास होने के बावजूद, तुलाह का ग्रामीण स्थान अंतरराष्ट्रीय या शहरी आगंतुकों के लिए असुविधाजनक हो सकता है। हालांकि हवाई अड्डे से परिवहन की सुविधा उपलब्ध है, लेकिन लंबी दूरी की यात्रा और ग्रामीण सेटिंग कुछ लोगों के लिए बाधा बन सकती है। यह विशेष रूप से उन लोगों के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकता है, जो दूरस्थ क्षेत्रों में वेलनेस के लिए यात्रा करने के अभ्यस्त नहीं हैं।
सांस्कृतिक और वैज्ञानिक सवाल
आयुर्वेद, चीनी और तिब्बती चिकित्सा का मिश्रण सांस्कृतिक संवेदनशीलता के सवाल उठा सकता है। कुछ लोग इसे सांस्कृतिक मिश्रण के रूप में देख सकते हैं, जो प्रामाणिकता को कम कर सकता है। इसके अलावा, पारंपरिक और आधुनिक चिकित्सा के संयोजन की वैज्ञानिक वैधता पर सवाल उठ सकते हैं, खासकर जब दीर्घकालिक परिणामों का डेटा उपलब्ध नहीं है। यह उन लोगों के लिए चिंता का विषय हो सकता है, जो साक्ष्य-आधारित उपचार चाहते हैं।
पर्यावरणीय और सामाजिक प्रभाव
तुलाह ने नेट-जीरो उत्सर्जन, रेडियंट कूलिंग और रेनवाटर हार्वेस्टिंग जैसी टिकाऊ प्रथाओं को अपनाने का दावा किया है। फिर भी, 30 एकड़ में फैले इस विशाल प्रोजेक्ट के निर्माण और संचालन से स्थानीय पारिस्थितिकी तंत्र पर प्रभाव पड़ सकता है। सामाजिक रूप से, उच्च-स्तरीय ग्राहकों पर ध्यान इसे अभिजनवादी बना सकता है, जिससे कम आय वाले समूहों के लिए पहुंच सीमित हो सकती है। यह समावेशिता के दावों के विपरीत हो सकता है।
पारदर्शिता की कमी
तुलाह के डेटा-आधारित उपचारों की प्रभावशीलता और स्टाफ की योग्यता के बारे में पारदर्शिता की कमी चिंता का विषय हो सकती है। बिना सार्वजनिक समीक्षाओं या दीर्घकालिक परिणामों के, संभावित ग्राहक उच्च लागत के कारण हिचक सकते हैं। यह विशेष रूप से उन लोगों के लिए महत्वपूर्ण है, जो विश्वसनीय और सिद्ध वेलनेस समाधान चाहते हैं।
वैश्विक महत्वाकांक्षा और चुनौतियां
तुलाह की योजना में 100 अर्बन तुलाह केंद्रों का वैश्विक विस्तार शामिल है, जैसे दुबई में प्रस्तावित केंद्र। हालांकि, यह योजना अभी प्रारंभिक चरण में है, और इसे लागू करने में देरी या असफलता इसकी विश्वसनीयता को प्रभावित कर सकती है। इसके अलावा, वैश्विक ग्राहकों की विविध सांस्कृतिक अपेक्षाओं को पूरा करना एक बड़ी चुनौती हो सकता है।