
स्टेट डेस्क, नीतीश कुमार |
4 जुलाई को पटना में कारोबारी गोपाल खेमका की हत्या के बाद बिहार की राजनीति में बयानबाजी तेज हो गई है। इसी कड़ी में भागलपुर के गोपालपुर से जदयू विधायक गोपाल मंडल ने बिहार पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
विधायक गोपाल मंडल ने कहा कि अब हत्या आम बात हो गई है और यह सिलसिला कभी थमेगा नहीं। कानून अपना काम कर रही है, ऐसे में सरकार क्या कर सकती है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार हर जगह तो नहीं जा सकते।
उन्होंने चिराग पासवान पर तंज कसते हुए कहा कि बड़े बाप के चिराग अब खुद को बड़ा नेता समझते हैं। अगर बीजेपी और जदयू साथ न दें, तो उन्हें एक भी सीट नहीं मिलेगी।
“पहले अफसर पलायन कर जाते थे”
गोपाल मंडल ने कहा कि उनका विरोध सरकार से नहीं, बल्कि व्यवस्था से है। वे खुद मुख्यमंत्री से मिलकर कानून-व्यवस्था पर बात करेंगे। उन्होंने कहा कि विपक्ष के आरोपों से कुछ नहीं बदलेगा। उन्होंने 2005 से पहले के बिहार की स्थिति की याद दिलाते हुए कहा कि तब IAS अधिकारी तक बिहार छोड़ देते थे।
“कौन किसका दुश्मन है, नहीं कहा जा सकता”
विधायक ने कहा कि पुलिस अपने काम में लगी है, लेकिन गांधी मैदान जैसे बड़े इलाकों में सुरक्षा चुनौतीपूर्ण है। अब तो स्थिति ऐसी हो गई है कि भाई ही भाई का दुश्मन बन चुका है। उन्होंने कहा कि कानून और डीजीपी दोनों काम कर रहे हैं। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सुशासन के पक्षधर हैं, लेकिन पुलिस ढीठ हो गई है। वे खुद सीएम से इस मुद्दे पर बात करेंगे। उन्होंने फिर कहा कि 2005 के पहले अपराधी सरेआम लड़कियों को उठा ले जाते थे। सौभाग्य से 2005 में बिहार की कमान नीतीश कुमार को मिली।
“चिराग पासवान को सीट नहीं मिलेगी”
चिराग पासवान को लेकर गोपाल मंडल ने कहा कि वो कुछ भी नहीं हैं, जीरो पर आउट हो जाएंगे। उनके पिता रामविलास पासवान अच्छे नेता थे, लेकिन चिराग उस स्तर के नहीं हैं। अगर जदयू और बीजेपी उनका साथ छोड़ दें, तो वो अपनी जगह से हिल भी नहीं पाएंगे। उन्होंने कहा कि चिराग को बयान सोच-समझकर देना चाहिए। बड़े बाप के बेटे होने से कोई बड़ा नेता नहीं बन जाता।
गोपाल मंडल ने यह भी कहा कि चिराग को जो भी सीटें मिली हैं, वो बीजेपी-जदयू की वजह से मिली हैं। वे हीरो टाइप हैं, इसलिए लड़का-लड़की उनके पीछे रह सकते हैं, लेकिन इससे वोट नहीं मिलने वाला।